ऑपरेशन सिंदूर के चार महीने बाद पाकिस्तान ने आखिरकार कबूल कर लिया है कि दोनों देशों के बीच युद्धविराम एक द्विपक्षीय मुद्दा है. खुद पाकिस्तान के उप-प्रधानमंत्री (और विदेश मंत्री) इशाक डार ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के उस दावे को खारिज कर दिया है.
ऑपरेशन सिंदूर के बाद से ही ट्रंप का दावा था कि भारत और पाकिस्तान के बीच युद्धविराम कराने में अमेरिका की महत्वपूर्ण भूमिका थी. इस दावे के साथ ही ट्रंप ने दो परमाणु शक्ति देशों के बीच युद्ध रूकवाने के लिए नोबेल शांति पुरस्कार पर दावा ठोंक दिया था.
भारत ने ट्रंप के दावे को हालांकि, एक सिरे से खारिज कर दिया था. भारत ने दो टूक कह दिया है कि युद्ध रोकने का फैसला, पाकिस्तान के आग्रह पर किया गया था. (पाकिस्तानी आतंकियों के जख्म हरे, मुनीर को रहे कोस)
भारत के इस व्यवहार पर खीझ उतारते हुए ट्रंप ने भारत के खिलाफ 50 प्रतिशत टैरिफ लगा दिया था. हालांकि, पिछले कुछ हफ्ते में ट्रंप के तेवर कुछ ढीले पड़े हैं और टैरिफ डील पर दोनों देश वार्ता कर रहे हैं.
मंगलवार को एक ग्लोबल न्यूज चैनल से बात करते हुए डार ने कहा कि 10 मई की सुबह अमेरिका के विदेश सचिव मार्को रूबियो ने फोन कर बताया था कि जल्द ही भारत और पाकिस्तान के बीच एक तीसरी जगह पर डायलॉग होगा. लेकिन जब 25 जुलाई को फिर से रूबियो से मुलाकात हुई और भारत से बातचीत के बारे में पूछा तो अमेरिका विदेश सचिव ने कहा कि भारत ने साफ कर दिया है कि ये एक ‘द्विपक्षीय मुद्दा’ है. (https://x.com/MeghUpdates/status/1967905418719662515)