दिल्ली चुनाव पर मंडरा रहा है खालिस्तानी आतंकियों के हमले का खतरा. दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी (आप) के संयोजक अरविंद केजरीवाल समेत कई बड़े नेताओं पर अटैक कर सकते हैं खालिस्तानी आतंकी. इस खुफिया जानकारी के बाद दिल्ली पुलिस ने अरविंद केजरीवाल की सुरक्षा व्यवस्था की समीक्षा की है. दिल्ली में होने वाली जनसभाओं को लेकर भी अलर्ट जारी किया गया है.
खालिस्तानी आतंकियों के टारगेट पर केजरीवाल
खुफिया विभाग ने दिल्ली पुलिस को जो रिपोर्ट दी है, उसके मुताबिक अरविंद केजरीवाल की जान को खतरा है. खुफिया एजेंसियों की रिपोर्ट में बताया गया है कि खालिस्तानी आतंकी अरविंद केजरीवाल को निशाना बना सकते हैं. दिल्ली पुलिस को इस मामले में अलर्ट रहने को कहा गया है. वीवीआईपी सुरक्षा को देखते हुए दिल्ली पुलिस पहले से ही हाईअलर्ट थी, लेकिन नई खुफिया रिपोर्ट के बाद केजरीवाल की सुरक्षा में इजाफा किया गया है.
गणतंत्र दिवस और दिल्ली चुनाव में माहौल बिगाड़ने की साजिश
दिल्ली में चुनाव और 26 जनवरी को लेकर तैयारियां की जा रही हैं. जिसके चलते दिल्ली में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था है. दिल्ली में माहौल बिगाड़ने के लिए खालिस्तानी आतंकी गड़बड़ फैलाने की साजिश रच रहे हैं. पिछले कुछ महीनों में पश्चिमी दिल्ली में दो संदिग्ध धमाके भी किए जा चुके हैं. उन धमाका करने वालों का भी अब तक कोई सुराग हासिल नहीं हुआ है. ऐसे में आशंका है कि अपनी मौजूदगी दिखाने के लिए आतंकी, धमाका या नेताओं पर हमला कर सकते हैं.
ताजा खुफिया रिपोर्ट के बाद दिल्ली पुलिस ने भीड़भाड़ वाले इलाके में सुरक्षा और बढ़ा दी है. वहीं गणतंत्र दिवस और चुनावों को देखते हुए अर्धसैनिक बलों की 60 से अधिक कंपनियां और 10 हजार से अधिक पुलिसकर्मियों को तैनात किए जाने की उम्मीद है.
स्कूलों को धमकी भरे ईमेल मामले में खुलासा
तकरीबन 400 से ज्यादा स्कूलों को धमकी देने के मामले में दिल्ली पुलिस ने एक नाबालिग छात्र को हिरासत में लिया है. छात्र के परिवार का संबंध आतंकी अफजल गुरु मामले से बताया जा रहा है. वही अफजल गुरु, जिसे 2001 में हुए संसद हमले में फांसी दी गई थी. दिल्ली पुलिस का दावा है कि छात्र के परिवार का संपर्क एक ऐसे एनजीओ से था, जो अफजल गुरु के फांसी देने के विरोध में था. एनजीओ का संबंध एक राजनीतिक दल से भी था.
स्कूलों को बम से उड़ाने की धमकी का क्या है अफजल गुरु से संबंध?
पिछले साल मई में दिल्ली-एनसीआर के स्कूलों को बम से उड़ाने की धमकी दिए जाने के बाद हड़कंप मच गया था. सिर्फ एक बार ही नहीं, बार-बार कई अंतराल के बाद स्कूलों में धमाका करने की धमकी दी गई.
दिल्ली पुलिस की साइबर सेल जांच में जुटी थी, लेकिन वो धमकियां एडवांस तरीके के ईमेल से भेजी गई थीं, जिसके आगे दिल्ली पुलिस पस्त नजर आई. दिल्ली पुलिस को ईमेल प्रोवाइडर से मिले डेटा से भी सफलता हासिल नहीं हुई. लेकिन साल 2025 की शुरुआत में एक बार फिर स्कूलों को धमकी भरा ईमेल भेजा गया, तो पुलिस को मिल गया एक अहम सुराग और पुलिस सुराग तलाशते-तलाशते जब आरोपी तक पहुंची तो वो एक नाबालिग छात्र निकला. (RU ईमेल से दिल्ली के स्कूलों में हड़कंप !)
दिल्ली पुलिस के स्पेशल कमिश्नर मधुप तिवारी के मुताबिक, “2025 में फिर ऐसी ईमेल आई. फिर एक विंडो का पता चला, जो एक बच्चे का था. उसके लैपटॉप और फोन की फॉरेंसिक जांच की गई तो पता चला कि 400 से ज्यादा स्कूलों को ईमेल भेजी गई थी. फिर हम बच्चे के पीछे लग गए. उसके परिवार के बारे में पता लगाया. इसके पेरेंट्स जहां काम करते हैं, वहां के एनजीओ को तलाशा. यह एनजीओ एक पॉलिटिकल पार्टी के लिए काम करता था जो ऐसी पॉलिटिकल पार्टी का समर्थन करता था और अफजल गुरु का समर्थन करता था.”
धमकी देने के पीछे सिर्फ परीक्षा टालना वजह नहीं हो सकती: स्पेशल सीपी
दिल्ली पुलिस के स्पेशल कमिश्नर मधुप तिवारी के मुताबिक, “धमकी भरा ईमेल भेजने में जो ब्राउजर इस्तेमाल किए हैं, उनका कंटेंट भी मिलता जुलता है. स्कूलों को धमकी दिए जाने की एक बड़ी जांच की गई है. हम अभी जांच कर रहे हैं कि आखिर में इसका मास्टरमाइंड कौन है. हम अफजल गुरु का समर्थन करने वाले एनजीओ का डेटा खंगाल रहे हैं. हमें इस बच्चे की पूरी जानकारी पता करनी है. इसके लिए हम पूरा प्रोफाइल खंगाल रहे हैं. सिर्फ परीक्षा टालना या टेस्ट टालना, धमकी के पीछे की वजह नहीं हो सकती. धमकी दिए जाने के पीछे कुछ और कारण भी हो सकते हैं.”
सिर्फ एक बच्चा अकेला ऐसा नहीं कर सकता: स्पेशल सीपी
दिल्ली पुलिस के स्पेशल सीपी ने कहा, “जांच अभी चल रही है, जैसे-जैसे जांच की कड़ियां जुड़ेंगी और खुलासे होंगे. जांच शुरुआती चरण में है. पिछले साल मास ईमेल के जरिए धमकी दी गई थी, तब ऐसा लग रहा था कि कहीं उसके पीछे कोई आतंकी संगठन तो नहीं था, या स्कूल की परीक्षाएं टालने के लिए किसी को शरारत तो नहीं थी. लेकिन 8 जनवरी 2025 को जो आखिरी ईमेल्स आई, उसी के आधार पर हम बच्चे की पहचान कर पाए. बच्चे के लैपटॉप की फॉरेंसिक जांच से पता चला कि बच्चे ने 400 से ज्यादा ईमेल भेजी थीं. हमें शक हो रहा था कि एक बच्चा ये कैसे कर सकता है. इसलिए हमने आगे की जांच शुरू की. ऐसा लगता है कि सिर्फ एक बच्चा ऐसा नहीं कर सकता, इसलिए दिल्ली पुलिस जांच को बेहद गंभीरता से ले रही है.” (https://x.com/ANI/status/1879103539668234474)
अफजल गुरु के समर्थित एनजीओ और राजनीतिक दल पर सियासत तेज
दिल्ली पुलिस ने ये तो बता दिया है कि बच्चे का परिवार एक ऐसे एनजीओ से जुड़ा हुआ है, जो अफजल गुरु का पक्षधर था, साथ ही एनजीओ का संबंध एक राजनीतिक पार्टी से है, लेकिन पुलिस ने ये बताने से मना कर दिया है कि वो पार्टी कौन सी है.
बीजेपी ने आम आदमी पार्टी पर साधा निशाना
भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) सांसद सुधांशु त्रिवेदी ने कहा, “आम आदमी पार्टी (आप) का सबंध ऐसे देश विरोधी एनजीओ से रहा है. दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी के अभिभावक ने अफजल गुरु को बचाने का काम किया था. आप की मुख्यमंत्री आतिशी के पैरेंट्स ने अफजल गुरु की दया याचिका का समर्थन किया था. क्या आम आदमी पार्टी या उनसे जुड़े किसी एनजीओ का इससे कोई संबंध रहा है? आप स्पष्ट करे कि इसका उससे क्या संबंध है.” (https://x.com/MrsGandhi/status/1879146822150852839)
बीजेपी पर आम आदमी पार्टी ने पलटवार किया है. आप पार्टी के सांसद संजय सिंह ने कहा, “बीजेपी स्कूल को बच्चों की धमकी मिलने के मुद्दे पर राजनीति कर रही है, पहली धमकी मई 2024 में मिली थी. अब लगभग 9 महीने बाद भी दिल्ली पुलिस ने कोई बयान नहीं दिया है. अब सुधांशु त्रिवेदी अलग-अलग एनजीओ की कहानियां बता रहे हैं, उन्हें सब कुछ पता है. 10 महीनों तक कोई जांच नहीं हुई, लेकिन अब चुनाव से 15 दिन पहले वे मनगढ़ंत कहानियां सुना रहे हैं.”