रूस के साथ व्यापार को लेकर अनबन और मनमाने टैरिफ के बीच अमेरिका और भारत के बीच हुई है बड़ा रक्षा समझौता. कुआलालंपुर में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और अमेरिकी रक्षा सचिव पीट हेगसेथ ने 10 वर्षीय समझौते पर हस्ताक्षर किया है.
ऑपरेशन सिंदूर के बाद पहली बार राजनाथ सिंह और पीट हेगसेथ के बीच मुलाकात हुई. दोनों देशों के रक्षा मंत्री आसियान प्लस की बैठक में हिस्सा लेने पहुंचे हैं. ऑपरेशन सिंदूर के बाद से ही भारत और अमेरिका के बीच संबंधों में खटास आ गई है. पाकिस्तान के साथ युद्धविराम को लेकर अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के सीजफायर के दावे को भारत हमेशा से नकारता रहा है.
लेकिन कड़वाहट दरकिनार करते हुए राजनाथ सिंह ने इस समझौते को लेकर कहा कि रक्षा ढांचे पर हस्ताक्षर के साथ नए अध्याय की शुरुआत हो रही है. वहीं पीट हेगसेथ ने इस समझौते को ऐतिहासिक बताते हुए कहा है कि ये भारत-यूएस की डिफेंस पार्टनरशिप को आगे बढ़ा रहा है.
राजनाथ सिंह-पीट हेगसेथ के बीच द्विपक्षीय वार्ता, राजनाथ सिंह ने क्या कहा
मलेशिया की राजधानी कुआलालंपुर में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने अपने अमेरिकी समकक्ष पीट हेगसेथ के साथ द्विपक्षीय वार्ता की. राजनाथ सिंह और पीट हेगसेथ के बीच हुई द्विपक्षीय बातचीत में रक्षा समझौते पर हस्ताक्षर किए गए हैं.
समझौते को लेकर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, “कुआलालंपुर में अपने अमेरिकी समकक्ष पीट हेगसेथ के साथ एक उपयोगी बैठक हुई. हमने 10 वर्षीय ‘अमेरिका-भारत प्रमुख रक्षा साझेदारी की रूपरेखा’ पर हस्ताक्षर किए. यह हमारी पहले से ही मजबूत रक्षा साझेदारी में एक नए युग की शुरुआत करेगा. यह रक्षा रूपरेखा भारत-अमेरिका रक्षा संबंधों के संपूर्ण आयाम को नीतिगत दिशा प्रदान करेगी. यह हमारे बढ़ते रणनीतिक अभिसरण का संकेत है और साझेदारी के एक नए दशक की शुरुआत करेगा. रक्षा हमारे द्विपक्षीय संबंधों का एक प्रमुख स्तंभ बना रहेगा. एक स्वतंत्र, खुला और नियम-आधारित हिंद-प्रशांत क्षेत्र सुनिश्चित करने के लिए हमारी साझेदारी महत्वपूर्ण है.”
भारत और अमेरिका का रक्षा संबंध पहले से ज्यादा मजबूत: पीट हेगसेथ
अमेरिका रक्षा सचिव (रक्षा मंत्री) पीट हेगसेथ ने 10 वर्षीय अमेरिका-भारत रक्षा ढांचा समझौते पर कहा, ‘‘यह हमारी रक्षा साझेदारी को आगे बढ़ाता है, जो क्षेत्रीय स्थिरता और प्रतिरोधक क्षमता के लिए एक आधारशिला है. हम अपने समन्वय, सूचना साझाकरण और प्रौद्योगिकी सहयोग को मजबूत कर रहे हैं. हमारे रक्षा संबंध पहले से कहीं अधिक मजबूत हैं.’’
पहलगाम हमले और ऑपरेशन सिंदूर के दौरान राजनाथ-हेगसेथ में हुई थी बात
22 अप्रैल को पहलगाम नरसंहार के बाद अमेरिकी रक्षा मंत्री पीट हेगसेथ ने रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने लंबी बात की थी. उस दौरान राजनाथ सिंह ने पाकिस्तान को एक रोग-स्टेट यानी दुष्ट-देश बताते हुए कहा था कि दक्षिण एशिया को अस्थिर करने में जुटा है और वैश्विक-आतंकवाद को बढ़ा रहा है. वहीं हेगसेथ ने राजनाथ सिंह से कहा था कि भारत को आत्मरक्षा का पूरा अधिकार है और अमेरिका मजबूती से भारत के साथ खड़ा है.
बाद में ऑपरेशन सिंदूर के बाद एक बार फिर से हेगसेथ और राजनाथ सिंह के बीच बातचीत हुई थी. जिसमें राजनाथ सिंह ने साफतौर पर कह दिया था कि भारत आतंकवाद के खिलाफ सैन्य एक्शन लेता रहेगा.
ये बातचीत उस वक्त हुई थी जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप बार-बार ये कहते घूम रहे थे कि उन्होंने भारत पाकिस्तान के बीच सीजफायर रुकवाया था. लेकिन भारत ने साफ कर दिया है कि पाकिस्तान के आग्रह पर सैन्य टकराव को रोका गया है. ट्रंप की सीजफायर में कोई भूमिका नहीं थी.
अब पाकिस्तान की पिटाई के बाद पहली बार मलेशिया में राजनाथ सिंह और हेगसेथ के बीच मुलाकात हुई है. माना जा रहा है कि 10 वर्षीय डिफेंस डील के अलावा तेजस इंजन की देरी और ऑपरेशन सिंदूर के बारे में भी दोनों रक्षा मंत्रियों के बीच बातचीत हुई होगी.

