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आतंकियों के सोशल मीडिया प्रोपेगेंडा पर सख्ती, Phantom वीडियो फॉरवर्ड करने पर होगी कार्रवाई

आतंकी हमलों से जुड़े वीडियो को सोशल मीडिया पर वायरल करने को लेकर जम्मू कश्मीर पुलिस अलर्ट हो गई है. जेके पुलिस ने लोगों को आतंकी संगठनों से जुड़े वीडियो को फॉरवर्ड न करने की सख्त हिदायत दी है. पुलिस ने रेड फ्लैग जारी कर साफ कर दिया है कि अगर कोई ऐसा करता हुआ पाया गया तो उसके खिलाफ यूएपीए की धाराओं में कार्रवाई की जा सकती है.

दरअसल, सोमवार दोपहर आतंकी संगठन जैश ए मोहम्मद ने एक पांच मिनट और 55 सेकंड का वीडियो जारी किया है. वीडियो में बॉलीवुड मूवी ‘फैंटम’ का पोस्टर लगाया गया है.

जेके पुलिस ने सर्व-साधारण को आगाह किया है कि इस वीडियो को कतई फॉरवर्ड नहीं किया जाना चाहिए. साथ ही अगर सोशल मीडिया के जरिए उनके पास ये वीडियो पहुंचता भी है तो उसकी पूरी जानकारी पुलिस को देना जरूरी है.

सोशल मीडिया पर वीडियो के जरिए प्रोपेगेंडा के लिए पुलिस और सिविल अधिकारियों को भी आगाह किया गया है. पुलिस अधिकारियों के लिए भी अपने सुपरवाइजर अफसरों को इस वीडियो के बारे में जानकारी देना जरूरी है.

पुलिस के मुताबिक, किसी भी सूरत में जैश ए मोहम्मद द्वारा जारी किए गए वीडियो को फॉरवर्ड नहीं किया जाएगा. क्योंकि इस तरह की करतूत यूएपीए की धारा 13 और 18 के तहत कानूनी जुर्म है.

वर्ष 2015 में आई हिंदी फिल्म फैंटम में अभिनेता सैफ अली खान एक भारतीय एजेंट बने थे जो पाकिस्तान में घुसकर भारत विरोधी आतंकियों का सफाया करते हैं.

दरअसल, कश्मीर घाटी में आ रही शांति के बाद पाकिस्तान समर्थित आतंकी संगठन, जम्मू-क्षेत्र के पुंछ, राजौरी, कठुआ, हीरानगर और डोडा जैसे इलाकों में सक्रिय हो गए हैं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तीसरी बार सरकार बनने के बाद से आतंकियों ने एक के बाद एक कई बड़े आतंकी हमलों को अंजाम दिया है. इनमें वैष्णो देवी की यात्रा कर लौट रहे तीर्थयात्रियों की बस को निशाना बनाने से लेकर सुरक्षाबलों पर बड़े हमले शामिल हैं.

सुरक्षा एजेंसियों ने हाल ही में कठुआ (8 जुलाई) और डोडा (14 जुलाई) में हुए आतंकी हमलों को लेकर सोशल मीडिया की गहराई से स्टडी की है. एनालिसिस में पाया गया है कि जैश ए मोहम्मद जैसे आतंकी संगठन अब ‘कश्मीर टाइगर्स’ वाले ‘शैडो’ नामों से ऑपरेट कर रहे हैं. भारतीय सेना की नेगेटिव इमेज प्रदर्शित करने के लिए ये आतंकी संगठन विदेश से बैठकर खास हैशटैग भी ट्रेंड कराने की कोशिश करते हैं. 

कठुआ में हुए आतंकी हमले में सेना के चार सैनिक वीरगति को प्राप्त हुए थे और आधा दर्जन सैनिक घायल हुए थे. जबकि डोडा में हुए हमले में भारतीय सेना के एक कैप्टन रैंक के अधिकारी समेत चार सैनिक वीरगति को प्राप्त हुए थे. 

कश्मीर टाईगर्स ने ट्विटर के साथ ही टेलीग्राम जैसे सोशल मीडिया एप का इस्तेमाल भी अपनी पोस्ट और वीडियो को प्रसारित करने के लिए किया है. टीएफए के पास ट्विटर और टेलीग्राम पर प्रचलित इस आतंकी संगठन के हैंडल की जानकारी भी है. लेकिन सुरक्षा कारणों से इन्हें उजागर नहीं किया जा रहा है. इनमें से कई अकाउंट्स को सुरक्षा एजेंसियों के निर्देश पर सोशल मीडिया कंपनियों ने ब्लॉक भी कर दिया है.

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