रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता की ओर एक और कदम बढ़ाते हुए डीआरडीओ ने ड्रोन से दागने वाली मिसाइल तैयार कर ली है. इंडियन आर्मी अब टारगेट पर ड्रोन से अचूक निशाना लगाकर मिसाइल को लॉन्च कर सकती है.
रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन ने ड्रोन से दागी जाने वाली यूएवी लॉन्च्ड प्रिसिजन गाइडेड मिसाइल (यूएलपीजीएम)- वी 3 का सफल परीक्षण किया है. खास बात ये है कि किसी भी मौसम में ये दुश्मनों के ठिकानों को ध्वस्त करने में सक्षम है. डीआरडीओ के अध्यक्ष समीर वी कामत ने कहा, हथियार का विकास समय की मांग है.
रक्षा मंत्रालय ने बताया, नकली टैंक खड़ा करके किया गया टेस्ट
रक्षा मंत्रालय के मुताबिक, इस मिसाइल का एंटी-आर्मर मोड में परीक्षण किया गया, यानी टैंकों को नष्ट करने की क्षमता जांची गई. इस टेस्ट में एक नकली टैंक को खड़ा किया गया था. स्वदेशी ड्रोन से लॉन्च की गई मिसाइल ने टारगेट पर सटीक निशाना लगाकर नष्ट कर दिया.
रक्षा मंत्रालय ने बताया कि “मिसाइल को एक यूएवी से छोड़ा गया, जिसे एक भारतीय स्टार्ट-अप – न्यूस्पेस रिसर्च टेक्नोलॉजीज, बेंगलुरु द्वारा स्वदेशी रूप से विकसित किया गया है. डीआरडीओ कई अन्य भारतीय कंपनियों के लंबी दूरी और उच्च क्षमता वाले यूएवी के साथ यूएलपीजीएम हथियारों के एकीकरण पर सक्रिय रूप से काम कर रहा है. विकास सह उत्पादन साझेदार (डीसीपीपी) – अडानी डिफेंस और भारत डायनेमिक्स लिमिटेड, हैदराबाद) और 30 एमएसएमई/स्टार्ट-अप ने इस अनूठी परियोजना को सफल बनाने में योगदान दिया.”
रक्षा मंत्रालय ने बताया कि यह मिसाइल रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन द्वारा पहले विकसित और वितरित यूएलपीजीएम -वी2 मिसाइल का उन्नत संस्करण है.
क्या है यूएलपीजीएम वी 2 की विशेषताएं
डीआरडीओ द्वारा बनाई गई इस मिसाइल इसे अहम बना रही हैं, इसके लेजर गाइडेड तकनीक और टॉप अटैक मोड तकनीक के तहत बनाया गया है, जो कि इसे टैंकों के कमजोर हिस्से पर हमला करने में सक्षम है. इसका वजन 12 किलो 500 ग्राम है, जिसे छोटे ड्रोन से भी छोड़ा जा सकता है. इसमें इमेजिंग इन्फ्रारेड सीकर लगाया गया है, जो दिन-रात टारगेट को ढूंढता रहता है. दो तरफ डेटा लिंक हैं, आधुनिक बख्तरबंद वाहनों को नष्ट करने के लिए एंटी-आर्मर; एंटी बंकर एप्लिकेशन के साथ पेनेट्रेशन-कम-ब्लास्ट वारहेड और उच्च घातकता वाले प्री-फ्रैगमेंटेशन वारहेड लगा हुआ है.
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने डीआरडीओ को दी बधाई
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने डीआरडीओ को सफल परीक्षण के लिए बधाई दी. राजनाथ सिंह ने अपने एक्स अकाउंट पर लिखा, ‘‘भारत की रक्षा क्षमताओं को एक बड़ी मजबूती, डीआरडीओ ने आंध्र प्रदेश के कुरनूल में स्थित नेशनल ओपन एरिया रेंज (एनओएआई) में ड्रोन से दागे जाने वाली सटीक मारक क्षमता वाली (प्रिसिजन गाइडेड) मिसाइल यूएसपीजीएम-वी 3 का सफल परीक्षण किया.डीआरडीओ और उद्योग भागीदारों, रक्षा उत्पादन कंपनियों, एमएसएमई और स्टार्ट-अप्स को बधाई. यह सफलता साबित करती है कि भारतीय उद्योग अब महत्वपूर्ण डिफेंस टेक्नोलॉजी को अपनाने और उनका उत्पादन करने के लिए तैयार है.’’