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अमेरिकी सी-17 प्लेन पहुंचा अमृतसर, 104 अवैध भारतीयों को साथ लाया

अमेरिका से अवैध भारतीय प्रवासियों को लेकर पहला यूएस मिलिट्री सी-17 विमान अमृतसर पहुंच गया है. विमान में 104 प्रवासी भारतीय सवार है.

यूएस का मिलिट्री प्लेन बुधवार को अमृतसर के श्री गुरु रामदास जी इंटरनेशनल एयरपोर्ट पहुंचा. डोनाल्ड ट्रंप के राष्ट्रपति बनने के बाद अमेरिका ने पहली बार अवैध तरीके से रह रहे भारतीयों को वापस भारत भेजा है. गैर कानूनी तरीके से रह रहे 18 हजार भारतीयों की अमेरिका से वापसी होनी है. मंगलवार को अमेरिका ने जानकारी देते हुए बताया था कि भारतीयों को लेकर पहला मिलिट्री विमान निकला है. पीएम मोदी और जयशंकर ने अमेरिका से अवैध तरीके से रह रहे भारतीयों की वापसी की सहमति जताई थी.

अमृतसर में सी-17 की लैंडिंग, कौन से राज्य के हैं भारतीय?

अमृतसर एयरपोर्ट पर कड़ी सुरक्षा के बीच जिन भारतीयों को उतारा गया है उनमें 72 पुरुष, 19 महिलाएं और 13 बच्चे शामिल हैं. वापस लौटे लोगों में 33-33 नागरिक गुजरात और हरियाणा के हैं, जबकि 30 लोग पंजाब के रहने वाले हैं. 3-3 नागरिक महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश के रहने वाले हैं. दो नागरिक चंडीगढ़ के हैं. लैंडिंग से पहले अमृतसर एयरपोर्ट के डायरेक्टर, डिप्टी कमिश्नर, पुलिस कमिश्नर और सीआईएसएफ डायरेक्टर ने एक मीटिंग की थी. (https://x.com/harsimrans307/status/1887063176124022824)

पीएम मोदी के अमेरिका दौरे से पहले भारतीयों की वापसी

अवैध प्रवासियों की अमेरिका से वापसी को लेकर भारत ने हमेशा से सहमति जताई है. पीएम मोदी ने डोनाल्ड ट्रंप से फोन पर बातचीत के दौरान भी कहा था कि वो अवैध तरीके से रह रहे भारतीयों की वापसी के लिए तैयार हैं. इससे पहले भी विदेश मंत्री एस जयशंकर ने अमेरिकी विदेश मंत्री से द्विपक्षीय वार्ता के दौरान कहा था कि अवैध भारतीयों की वैध तरीके से वापसी के लिए भारत तैयार है. अगले सप्ताह पीएम मोदी अमेरिका की यात्रा करने वाले हैं. माना जा रहा है कि पेरिस के बाद वाशिंगटन जाकर पीएम मोदी 13 फरवरी को डोनाल्ड ट्रंप से मुलाकात करेंगे. उससे पहले ही भारतीयों की वापसी करवाई गई है.

अमेरिका में भारत के 18 हजार अवैध नागरिक 

बताया जा रहा है कि भारत के 18 हजार अवैध नागरिकों की पहचान की गई है, जो बिना दस्तावेज या अवैध दस्तावेज से अमेरिका में रह रहे हैं. भारत और अमेरिकी प्रशासन एक दूसरे के संपर्क में हैं और माना जा रहा है कि आने वाले दिनों में और भारतीयों की वापसी की जाएगी. विदेश मंत्रालय ने भी कहा था कि हम गैरकानूनी प्रवास के खिलाफ हैं, खासकर क्योंकि यह कई तरह के संगठित अपराधों से जुड़ा है. रणधीर जायसवाल ने कहा था कि “अगर कोई भारतीय, दुनिया में कहीं भी बिना सही कागजात के रह रहा है, तो हम उसे वापस ले लेंगे, लेकिन हमें उसके दस्तावेज दिए जाएं ताकि हम उसकी राष्ट्रीयता की पुष्टि कर सकें.”

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