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ताइवान ने चीन को दिखाया आईना

ताइवान को अपना बताने वाले चीन को ताइवान के राष्ट्रपति ने आईना दिखाया है. ऐसा आईना जिसे देखकर चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग भी पानी-पानी हो जाएं. ताइवान के राष्ट्रपति लाई चिंग-ते ने मौजूदा चीन की जन्मतिथि को लेकर बीजिंग को ही घेर लिया है. क्योंकि ताइवान का जन्म चीन से 38 साल पहले हुआ था.

चिंग-ते के मुताबिक, आधुनिक ताइवान का जन्म 1911 की चीनी क्रांति के दौरान हुआ था. इस क्रांति के बाद चीन के शाही राजवंश समाप्त हो गया था. वहीं मौजूदा चीन का जन्म 1949 में माओ के कम्युनिस्ट शासन से माना जाता है.

इसी महीने की पहली तारीख (1 अक्टूबर) को चीन की कम्युनिस्ट सरकार ने अपना 75वां स्थापना दिवस बेहद धूमधाम से मनाया था.

चीन के 75वें स्थापना दिवस को लेकर ही चिंग-ते ने सीसीपी (चाइनीज कम्युनिस्ट पार्टी) को घेरा है. चिंग-ते के मुताबिक, जब ताइवान 113 साल पुराना है और चीन महज 75 साल, तो चीन अपना आधिपत्य ताइवान पर कैसे जता सकता है. चिंग-ते ने कहा कि ऐसे में चीन की कम्युनिस्ट सरकार ताइवान की मातृभूमि नहीं हो सकती है. (ताइवान में ‘खून बहाने’ के लिए तैयार चीन)

1949 में माओ से तुंग ने कम्युनिस्ट क्रांति के साथ ही चीन से राष्ट्रवादी सरकार को ताइवान (फारमोसा) भागने पर मजबूर कर दिया था. तभी से ताइवान पर लोकतांत्रिक सरकार का शासन है और चीन में कम्युनिस्ट सरकार.

सीसीपी और शी जिनपिंग, वन-चायना पॉलिसी के तहत ताइवान को अपने देश का हिस्सा मानते हैं. पिछले दो सालों से चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) ताइवान के खिलाफ आक्रामक युद्धाभ्यास करती है. रोजाना, चीन के फाइटर जेट और जंगी जहाज ताइवान को घेरने की ड्रिल करते हैं. जिसके कारण इंडो-पैसिफिक क्षेत्र में ताइवान-स्ट्रेट एक बड़े फ्लैश-पॉइंट के तौर पर उभरा है.

ये पहली बार नहीं है जब चिंग-ते ने चीन को घेरने की कोशिश की है. ताइवान की कमान संभालने के वक्त भी चिंग-ते ने समान विचारधारा वाले लोकतांत्रिक देशों से करीबी संबंध और अमेरिका के साथ मिलकर हथियारों के निर्माण का आह्वान किया था. ऐसे में चीन को जबरदस्त मिर्ची लग गई थी. (ताइवान को हथियार न दे अमेरिका, चीन की गुहार)

यहां तक की जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के तीसरे कार्यकाल के शुरूआत में चिंग-ते ने सीधे शुभकामनाएं दी थी तो चीन चिढ़ गया था. लेकिन ताइवान ने साफ कर दिया है कि चीन के आक्रामक और साम्राज्यवादी नीतियों के आगे नतमस्तक नहीं होने जा रहा. (मोदी की ढाल बना ताइवान, चीन को तमाचा)

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