“भारत और अमेरिका के रिश्ते बेहद मजबूत हैं और भारत से द्विपक्षीय संबंध राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की प्राथमिकता है.” वाशिंगटन में प्रेसकॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए विदेश मंत्री एस जयशंकर ने भारत के साथ संबंधों को लेकर ट्रंप प्रशासन की सराहना की है.
अमेरिका की कमान एक बार फिर संभालने वाले डोनाल्ड ट्रंप के शपथ ग्रहण में विदेश मंत्री एस जयशंकर ने भारत का प्रतिनिधित्व किया था. अमेरिका के दौरे में क्वाड बैठक के अलावा जयशंकर ने अमेरिका के नए विदेश मंत्री मार्को रूबियो से द्विपक्षीय बैठक की. साथ ही एनएसए माइक वाल्ट्ज से भी मुलाकात की है.
भारत के साथ द्विपक्षीय संबंधों को प्राथमिकता दे रहे ट्रंप: एस जयशंकर
वाशिंगटन डीसी में पत्रकारों को संबोधित करते हुए एस जयशंकर ने कहा, ‘मेरा मानना है कि ट्रंप प्रशासन शपथ ग्रहण समारोह में भारत की उपस्थिति के लिए बहुत उत्सुक था. वे स्पष्ट रूप से द्विपक्षीय संबंधों को प्राथमिकता दे रहे हैं. बैठकों में यह भी स्पष्ट था कि वे संबंधों की बुनियाद पर निर्माण करना चाहेंगे, ऐसी बुनियाद जिसे बनाने में पहले ट्रंप प्रशासन ने भी बहुत योगदान दिया था.’
ट्रंप-मोदी द्वारा रखी गई नींव परिपक्व हुई: एस जयशंकर
भारत के विदेश मंत्री ने कहा कि “पहले ट्रंप प्रशासन के दौरान रखी गई नींव, विशेष रूप से राष्ट्रपति ट्रंप और प्रधानमंत्री मोदी की पहल के माध्यम से कई मायनों में परिपक्व हो गई है. क्वाड के संबंध में धारणा ये थी कि वर्तमान प्रशासन भी क्वाड को आगे ले जाने और इसकी गतिविधियों को तेज करने की हमारी इच्छा का जवाब देगा.”
एस जयशंकर ने कहा, “आज भारत और अमेरिका के बीच विश्वास का स्तर बहुत मजबूत है, हमारे हितों में बहुत उच्च स्तर की समानता है. यह भावना है कि जब हम अपने राष्ट्रीय हितों की सेवा करते हैं, जब हम अपनी द्विपक्षीय साझेदारी बनाते हैं, निश्चित रूप से क्षेत्रीय मुद्दों और वैश्विक मुद्दों पर, हम बहुत कुछ अच्छा कर सकते हैं.”
अमेरिकी विदेश मंत्री ने पहली द्विपक्षीय बैठक भारत के साथ की
अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो ने वाशिंगटन डीसी में जयशंकर से मुलाकात की. इस दौरान, दोनों नेताओं ने अमेरिका-भारत साझेदारी को मजबूत करने की अपनी प्रतिबद्धता दोहराई. मार्को रूबियो ने नाटो देशों को पीछे छोड़ते हुए भारत को प्राथमिकता देते हुए अपनी पहली द्विपक्षीय बैठक एस जयशंकर के साथ की. इस दौरान मार्को ने क्षेत्रीय मुद्दों और अमेरिका-भारत संबंधों को और गहरा करने के अवसरों सहित कई विषयों पर चर्चा की.
मार्को और जयशंकर दोनों नेताओं ने महत्वपूर्ण और उभरती प्रौद्योगिकियों, रक्षा, ऊर्जा और एक स्वतंत्र और खुले हिंद-प्रशांत क्षेत्र की उन्नति जैसे क्षेत्रों में सहयोग पर जोर दिया. इस बैठक मे द्विपक्षीय संबंधों की समीक्षा करते हुए भविष्य मे और मजबूत संबंध बनाने पर जोर दिया गया.