जम्मू कश्मीर में भारतीय सेना की घातक ‘व्हाइट नाइट’ कोर के जवानों ने आतंकियों की बड़ी घुसपैठ नाकाम कर दी है. पुंछ के पास बट्टल सेक्टर में तड़के 3 बजे आतंकियों ने भारतीय सीमा में घुसपैठ की कोशिश की थी. अलर्ट जवानों ने भारी गोलाबारी करके आतंकियों को घुसपैठ करने से रोका. इस दौरान आतंकियों और भारतीय सैनिकों के बीच भारी गोलीबारी हुई. आतंकियों की तरफ से हुई गोलीबारी में एक जवान के घायल होने की खबर है. फिलहाल बट्टल क्षेत्र में सेना का ऑपरेशन जारी है.
सेना ने घुसपैठ के बारे में क्या बताया?
सेना की नगरोटा (जम्मू) स्थित व्हाइट नाइट कोर (16वीं कोर) ने सोशल मीडिया ‘एक्स’ पर जानकारी देते हुए बताया कि “सतर्क सैनिकों ने सुबह तीन बजे बट्टल सेक्टर में घुसपैठ कर रहे आतंकवादियों पर प्रभावी गोलीबारी कर घुसपैठ की कोशिश को नाकाम कर दिया. भारी गोलीबारी के दौरान एक बहादुर जवान घायल हो गया और ऑपरेशन जारी है.” (अपडेट: देर शाम सेना ने जानकारी दी कि लांस नायक सुभाष चंदर वीरगति को प्राप्त हो गए हैं).
केरन में भी हुई थी घुसपैठ
18 जुलाई को नियंत्रण रेखा (एलओसी) के केरन सेक्टर (तंगधार) में भी भारतीय सेना ने पाकिस्तान की तरफ से घुसपैठ करने वाले दो आतंकियों को ढेर किया था. उनके कब्जे से भारी मात्रा में हथियार और गोला-बारुद जब्त किया गया था. जब्त किए गए हथियारों में ऑस्ट्रिया की बनी एक (‘एयूजी’) राइफल भी थी जिसे नाटो देश की सेनाएं इस्तेमाल करती हैं. माना जा रहा है कि ये गन अफगानिस्तान के रास्ते पाकिस्तान से ऑपरेट करने वाले आतंकी संगठनों के पास पहुंची है.
राजौरी में शौर्य चक्र विजेता के घर आतंकी हमला
घुसपैठ की कोशिश ऐसे समय में हुई है जब पिछले दो दिनों में जम्मू क्षेत्र में दो आतंकी घटनाएं सामने आई हैं. 22 जुलाई तड़के करीब 3 बजे आतंकियों ने जम्मू के राजौरी के गुंधा में एक शौर्य चक्र विजेता परशोत्तम कुमार के घर पर हमला किया. आतंकी हमले में एक जवान और परशोत्तम कुमार के चाचा घायल हुए हैं. दोनों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है. परशोत्तम कुमार विलेज डिफेंस गार्ड भी हैं और हाल ही में आतंकियों के एक बड़े हमले को नाकाम किया था. हमले की खबर लगते ही 63 आरआर आर्मी कैंप से आई टुकड़ी ने जवाबी कार्रवाई की और एक आतंकी को ढेर कर दिया है. आतंकियों ने सेना के कैंप पर ग्रैनेड से भी हमला किया. जिसके बाद पूरे इलाके की घेराबंदी कर सर्च ऑपरेशन चलाया जा रहा है. सुरक्षा बलों की अतिरिक्त टुकड़ियां भी गांव में तैनात हैं.
आतंकियों ने क्यों बनाया शौर्य चक्र विजेता को निशाना?
परशोत्तम कुमार वीडीजी यानी विलेज डिफेंस गार्ड हैं, जिनके पास हथियार चलाने की ट्रेनिंग होती है. वीडीजी परुषोत्तम ने कुछ महीने पहले ही एक आतंकी को ढेर किया था, जिसके बाद बहादुरी के लिए उन्हें शौर्य चक्र से सम्मानित किया गया था. आशंका जताई जा रही है कि इसी का बदला लेने के लिए आतंकियों ने ये अटैक किया था. दरअसल वी़डीजी का गठन साल 1995 में सुरक्षा के लिहाज से किया गया था. वीडीजी पर गांव और पहाड़ी इलाकों की सुरक्षा की जिम्मेदारी होती है. ये गार्ड भी ठीक सेना और पुलिस के जवानों की तरह ही सुरक्षा के साथ आतंकियों का सफाया करते हैं. हथियारों की ट्रेनिंग में महारत रहती है. माना जा रहा है कि वीडीजी में खौफ बढ़ाने के लिए आतंकियों ने परषोत्तम के घर पर टारगेट किया था.
जम्मू में बढ़े आतंकी हमले, देश मांगे आतंकी हमले का जवाब
जम्मू में जून महीने से अचानक आतंकी वारदातों में बड़ा इजाफा हुआ है. जिसके बाद रविवार को सेना प्रमुख जनरल उपेन्द्र द्विवेदी ने जम्मू का दौरा किया और आतंकवादी हमलों से निपटने को लेकर प्लानिंग की. सेनाध्यक्ष के दौरे के महज 24 घंटे में आतंकवादियों ने राजौरी में सेना के एक शिविर पर हमला कर दिया. सोमवार की सुबह हुई गोलीबारी में एक सैनिक घायल हो गया. सेना की ओर से की गई भारी जवाबी कार्रवाई के चलते आतंकी फरार हो गए. आतंकियों की तलाश चल रही है.
पिछले हफ्ते शुक्रवार को भी आतंकवादियों ने डोडा जिले के एक स्कूल में बने अस्थायी सेना शिविर पर फायरिंग की. स्कूल पर हमले से पहले 16 जुलाई को डोडा के इलाके में ही आतंकियों की तलाश में जुटे कैप्टन समेत 4 जवान वीरगति को प्राप्त हुए थे. इस आतंकी वारदात से तकरीबन एक सप्ताह पहले 8 जुलाी को कठुआ में घात लगाकर किए गए हमले में पांच सैनिक शहीद हो गए थे.वहीं हालिया एनकाउंटर में 5 से ज्यादा आतंकियों को भी मार गिराया गया है और डोडा, पुंछ, राजौरी समेत कई इलाकों के जंगलों में आतंकियों की तलाश के लिए कमांडोज़ जुटे हुए हैं (आतंकियों के सोशल मीडिया प्रोपेगेंडा पर सख्ती, Phantom वीडियो फॉरवर्ड करने पर होगी कार्रवाई).
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