इजरायल-हमास युद्ध के बीच खाड़ी देश, यूएई सेना का 45 सदस्य-दल पहली बार राजस्थान के महाजन फील्ड फायरिंग रेंज में भारतीय सेना के साझा युद्धाभ्यास के लिए पहुंचा है. ‘डेजर्ट-साइक्लोन’ नाम की इस मिलिट्री एक्सरसाइज में भारतीय सेना की मैकेनाइज्ड इन्फेंट्री के 45 सैनिक हिस्सा ले रहे हैं. ये साझा युद्धाभ्यास 2 जनवरी (मंगलवार) से शुरु हुआ और 15 जनवरी तक चलेगा.
भारत और यूएई के बीच ये पहली मिलिट्री एक्सरसाइज है जिसका उद्देश्य रेगिस्तान और सेमी-डेजर्ट बिल्ट-अप एरिया में सब-कन्वेन्शनल ऑपरेशन्स में इंटरऑपरेबिलिटी बढ़ाना है. भारतीय सेना के प्रवक्ता, कर्नल सुधीर चमोली के मुताबिक, “ये एक्सरसाइज यूएन (संयुक्त राष्ट्र) चार्टर के के पीसकीपिंग ऑपरेशन्स के चैप्टर-सेवन (7) के तहत की जा रही है.” इस युद्धाभ्यास से दोनों देशों की सेनाओं के बीच शांति मिशन ऑपरेशन्स के दौरान सहयोग बढ़ेगा. यूएई लैंड फोर्सेज की जायेद फर्स्ट ब्रिगेड का सदस्य-दल इस एक्सरसाइज में हिस्सा ले रहा है.
आपको बता दें कि यूएई एकमात्र ऐसा खाड़ी देश है जो हमास के खिलाफ जंग में इजरायल का विरोध नहीं कर रहा है. यूएई ने 7 अक्टूबर को इजरायल पर हमास के आतंकी हमले की भर्त्सना की थी. भारत, हालांकि, मिडिल-ईस्ट संकट का हल टू-स्टेट थ्योरी के पक्ष में है लेकिन खुले तौर पर हमास के आतंकी हमले का विरोध करता है (भारत किसके साथ, इजरायल या फिलिस्तीन)
जानकारी के मुताबिक, डेजर्ट-साइक्लोन एक्सरसाइज के दौरान एक ज्वाइंट सर्विलांस सेंटर बनाया जाएगा. इसके अलावा कॉर्डन एंड सर्च ऑपरेशन, बिल्ट-अप एरिया का डोमिनेशन और हेली-बॉर्न ऑपरेशन्स भी ड्रिल का हिस्सा होंगे.
साझा युद्धाभ्यास के जरिए दोनों देशों की सेनाएं एक-दूसरे की बेस्ट-प्रैक्टिस को अपनाएंगी. ये एक्सरसाइज मिलिट्री-डिप्लोमेसी का भी हिस्सा है और दोनों देशों के मित्रता-पूर्ण संबंध और प्रगाढ़ होंगे. एक्सरसाइज का मकसद साझा सिक्योरिटी ऑब्जेक्टिव पाना है ताकि दो मित्र-देशों में द्विपक्षीय संबंध मजबूत हो सके.
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