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नौसेना को मिली पहली फाइटर पायलट, आस्था पुनिया ने रचा इतिहास

भारतीय नौसेना को मिली है अपनी पहली महिला फाइटर पायलट. वायुसेना के बाद अब भारतीय नौसेना में भी महिला फाइटर पायलट को सौंपे गए गए गोल्डन विंग्स. सब-लेफ्टिनेंट आस्था पुनिया ने विशाखापट्टनम स्थित आईएनएस डेगा नेवल एयरबेस से हॉक कोर्स पूरा कर ये उपलब्धि हासिल की है. आपको बता दें कि भारतीय नौसेना में पहले से टोही विमान और हेलीकॉप्टर फ्लाई करने वाली महिला पायलट हैं. लेकिन फाइटर स्ट्रीम में कोई महिला पायलट नहीं थी. 

आस्था पूनिया को दिया गया विंग्स ऑफ गोल्ड

सब-लेफ्टिनेंट आस्था पुनिया को प्रतिष्ठित विंग्स ऑफ गोल्ड से नवाजा गया. आस्था पूनिया को सहायक नौसेना प्रमुख (एयर) रियर एडमिरल जनक बेवली ने प्रतिष्ठित ‘गोल्डन विंग्स’ प्रदान किए गए, जो उनके लड़ाकू विमानों के पायलटों के विशेष वर्ग में प्रवेश का प्रतीक है. आस्था पुनिया, भारतीय नौसेना के मिग-29 जैसे फाइटर जेट उड़ाने के लिए तैयार हो गई हैं.

भारतीय नौसेना के एयरक्राफ्ट कैरियर (विक्रांत और विक्रमादित्य) पर मिग-29 के लड़ाकू विमान तैनात रहते हैं. ऐसे में सब-लेफ्टिनेंट पुनिया भी अब मिग-29के फाइटर जेट उड़ाएंगी. इसके अलावा अप्रैल के महीने में ही रक्षा मंत्रालय ने नौसेना के लिए फ्रांस से 26 रफाल फाइटर जेट के मरीन वर्जन खरीदने का सौदा किया है. यानी निकट भविष्य में सब-लेफ्टिनेंट पुनिया, नौसेना के रफाल (एम) लड़ाकू विमान भी फ्लाई कर पाएंगी.

वायुसेना-नौसेना में महिलाएं लहराएंगी परचम

भारतीय वायुसेना में वर्ष 2016 में पहली महिला फाइटर पायलट शामिल हुई थी. स्क्वाड्रन लीडर अवनी चतुर्वेदी के नाम ये इतिहास दर्ज है. वर्ष 2020 में स्क्वाड्रन लीडर शिवांगी सिंह रफाल उड़ाने वाली पहली महिला पायलट बनी थी.

भारतीय नौसेना में भी वर्ष 2019 में पहली महिला नेवल पायलट शामिल हुई थी. सब-लेफ्टिनेंट शिवांगी, नौसेना के डोरनियर एयरक्राफ्ट (टोही विमान) उड़ाने वाली पहली नेवल महिला पायलट थी.

सब-लेफ्टिनेंट पुनिया के नेवल एविएशन की फाइटर स्ट्रीम में शामिल होने पर भारतीय नौसेना ने बयान जारी कर कहा कि इंडियन नेवी नारी शक्ति को बढ़ावा देने के लिए प्रतिबद्ध है ताकि महिलाओं के लिए समान संभावनाएं बनाई जा सके.

सेना में बढ़ रही महिलाओं की भागीदारी, ऑपरेशन सिंदूर में भी दिखा जलवा

पिछले कुछ वर्षों के आंकड़ों पर गौर किया जाए तो सशस्त्र बलों में महिलाओं की भागीदारी बढ़ी है.ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारतीय सेना ने महिला शक्ति की प्रतीक कर्नल सोफिया कुरैशी और विंग कमांडर व्योमिका सिंह को प्रेस ब्रीफिंग के लिए आगे किया था. इसके अलावा हाल ही में एनडीए में 17 महिलाओं का पहला बैच बेहद ही कड़े प्रशिक्षण के बाद बाहर निकला है. मतलब साफ है, भारतीय सेना में लैंगिक समानताओं पर जोर दिया जा रहा है, ताकि ज्यादा से ज्यादा महिलाएं देश की सुरक्षा के लिए अपना सहयोग दें. 

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