सीरिया से राष्ट्रपति असद के रूस भाग जाने और विद्रोहियों के कब्जे को लेकर इजरायल के पीएम नेतन्याहू के अलावा अमेरिका के राषट्रपति जो बाइडेन भी खुश हैं. असद शासन के पतन के बाद अमेरिका के मौजूदा राष्ट्रपति जो बाइडेन ने ऐलान किया है कि वो सीरियाई समूहों के साथ मिलकर एक स्वतंत्र सीरिया का निर्माण करेंगे, जहां नई सरकार और नया संविधान होगा.
वहीं 20 जनवरी को अमेरिका की सत्ता संभालने वाले नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एक दिन पहले बयान दिया था कि अमेरिका का सीरिया से कोई लेना-देना नहीं है. सीरिया में जो कुछ हो रहा है उससे अमेरिका को दूरी बनानी चाहिए.
सीरिया के निर्माण के लिए ऐतिहासिक अवसर: जो बाइडेन
जो बाइडेन ने व्हाइट हाउस में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर हथियारबंद समूहों की सराहना की है. बाइडेन ने कहा है कि सीरिया के निर्माण के लिए ऐतिहासिक क्षण है.असद के क्रूर शासन ने हजारों लोगों को प्रताड़ित किया था.
बाइडेन ने कहा, “सीरिया में 13 साल के गृहयुद्ध के बाद, उनके पिता बशर असद के आधी सदी से अधिक क्रूर सत्तावादी शासन के बाद, विद्रोही ताकतों ने असद को पद छोड़ने और देश छोड़ने के लिए मजबूर कर दिया है. शासन का पतन न्याय का एक मौलिक कार्य है. सीरिया के लंबे समय से पीड़ित लोगों के लिए बेहतर भविष्य बनाने का अवसर है.” (https://x.com/potus/status/1865828619374788696?s=46)
बाइडेन ने हालांकि, ये भी कहा कि “यह जोखिम और अनिश्चितता का क्षण भी है क्योंकि हम सभी इस सवाल पर विचार कर रहे हैं कि आगे क्या होगा?” जो बाइडेन ने इस बात का भी ऐलान किया कि “जब तक असद गृहयुद्ध समाप्त नहीं कर देते, तब तक उन पर प्रतिबंध लागू रहेंगे.”
जॉर्डन, लेबनान, इराक, इजरायल का समर्थन करेगा अमेरिका
जो बाइडेन ने सीरिया की स्थिति को लेकर लेबनान. इराक, इजरायल, जॉर्डन से बात की है. साथ ही अपने प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारियों को क्षेत्र में भेजने का ऐलान किया है. बाइडेन ने कहा कि “पिछले 4 वर्षों में उनके प्रशासन ने सीरिया के प्रति एक स्पष्ट प्रमुख नीति अपनाई है.”
बाइडेन ने कहा, “हमने आईएसआईएस से निपटने, स्थानीय भागीदारों से निपटने के साथ-साथ जमीन पर समर्थन के लिए सीरिया में अपनी सैन्य उपस्थिति बनाए रखी. अब स्वतंत्र, संप्रभु सीरिया की स्थापना के लिए सभी सीरियाई समूहों के साथ काम करेंगे.”
बाइडेन के रुख से अलग है ट्रंप की सोच
बाइडेन जहां हथियारबंद समूहों के साथ मिलकर काम करने की बात कर रहे हैं, वहीं जल्द सत्ता संभालने वाले डोनाल्ड ट्रंप के मुताबिक “अमेरिका को सीरिया से कोई मतलब नहीं रखना चाहिए. ट्रंप ने दो दिन पहले सोशल मीडिया में लिखा था कि सीरिया हमारा दोस्त नहीं है. इसलिए उनकी लड़ाई से हमें दूरी बनानी चाहिए.”
ट्रंप ने भले ही सीरिया से दूरी की बात कही है, लेकिन सीरिया में अभी भी तकरीबन 900 अमेरिकी सैनिकों की तैनाती है. पिछले कार्यकाल में भी ट्रंप ने अपने सैनिकों को सीरिया से निकलने की बात कही थी. माना जा रहा है कि 20 जनवरी के बाद ट्रंप सीरिया को लेकर कुछ बड़ा फैसला कर सकते हैं.
ब्रिटेन के पीएम ने भी सीरिया में तख्तापलट को बताया सही
ब्रिटेन के पीएम कीर स्टार्मर ने बयान जारी करते हुए कहा है कि “हम बशर अल असद के बर्बर शासन के पतन का स्वागत करते हैं. सीरिया में हाल के दिनों में जो हुआ है वो अभूतपूर्व है.”
कीर स्टार्मर ने कहा है कि “हम अपने सहयोगियों से बात कर रहे हैं और स्थिति पर बारीकी से नजर रखे हुए हैं. सीरिया के लोगों ने असद शासन में जो क्रूरता झेली है, हम उनके जाने का स्वागत करते हैं.” (मॉस्को पहुंचा असद का प्लेन, रूस में मिली शरण)